गांधीनगर, 29 जून (हि.स.)। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान गांधीनगर (आईआईटी) के 14वें दीक्षांत समारोह में अदित अतुल राम्भिया का संस्थान के दो सर्वोच्च सम्मान मिलना न केवल उनकी शैक्षणिक उत्कृष्टता को दर्शाता है बल्कि अनुशासन, बहुमुखी प्रतिभा और शांतिपूर्ण दृढ़संकल्प से भरी उनकी चार वर्षों की यात्रा का भी प्रमाण है।
अभी हाल ही में संपन्न आईआईटी गांधीनगर के दीक्षांत समारोह में निदेशक स्वर्ण पदक और खेलों में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए प्रशस्ति पत्र प्राप्त करने वाले अदित अतुल राम्भिया मुंबई के मूल निवासी हैं। उनकी मां एक आयुर्वेदिक डॉक्टर हैं और पिता पॉलिमर इंजीनियर हैं। आईआईटी गांधीनगर में पदार्थ अभियांत्रिकी (मटेरियल्स इंजीनियरिंग) की पढ़ाई के दौरान उन्होंने संस्थान के खुले पाठ्यक्रम का पूरा लाभ उठाया और जैव-आयुर्विज्ञान अभियांत्रिकी (बायोमेडिकल इंजीनियरिंग), रोबोटिक्स एवं प्रबंधन जैसे विषयों का भी गहराई से अध्ययन किया। इस शैक्षिक स्वतंत्रता ने क्रियाशील पदार्थों के जैव-आयुर्विज्ञान संबंधी अनुप्रयोगों के प्रति उनकी उत्कंठा को और प्रबल किया।
अपनी शैक्षणिक यात्रा को लेकर अदित ने बताया कि ऊत्तकों के पुनर्जनन के लिए जैवपदार्थ (बायोमैटेरियल्स फॉर टिशू रीजेनेरेशन) जैसे कोर्स और डॉ. श्रीहरिता रोथु व डॉ. अभिजीत मिश्रा जैसे प्रोफेसरों के साथ शोध ने मेरे दृष्टिकोण को पूरी तरह से बदल दिया। मुझे यह पता चला कि पदार्थ, स्वास्थ्य सेवा, घाव भरने और जल शुद्धिकरण आदि के माध्यम से किस प्रकार हमारे वास्तविक जीवन को प्रभावित करते हैं। उन्होंने बताया कि उनका ज्ञानार्जन भारत तक ही सीमित नहीं रहा। अमेरिका के टेक्सास ए एंड एम यूनिवर्सिटी में महत्वपूर्ण शोध इंटर्नशिप के दौरान उन्हें सॉफ्ट रोबोटिक्स और मेडिकल डिवाइसेज के क्षेत्र में अत्याधुनिक कार्य देखने का अवसर मिला। इस अनुभव ने वैश्विक डिजाइन और विनिर्माण प्रक्रियाओं की उनकी समझ को और भी विस्तृत किया एवं जैव-आयुर्विज्ञान अभियांत्रिकी में अधिस्नातक करने के उनके निर्णय को और भी मजबूत किया। वे जल्द ही कार्नेगी मेलॉन यूनिवर्सिटी, पिट्सबर्ग में अपनी शैक्षिक यात्रा जारी रखने की योजना बना रहे हैं।
अदित ने शिक्षा के साथ तैराकी में भी पहचान बनाई। तैराक के रूप में उन्होंने कई अंतर-आईआईटी जलक्रीड़ा प्रतिस्पर्धा (एक्वाटिक्स मीट्स) में आईआईटी गांधीनगर का प्रतिनिधित्व किया और राष्ट्रीय स्तर पर पदक हासिल किया। उन्होंने बताया कि हर जीत से पहचान, पुरस्कार और बेहतर उपकरण की सुलभता प्राप्त हुई, जिससे मुझे आगे बढ़ने की प्रेरणा मिली। अदित ने बताया कि इंटर-आईआईटी मीट्स के दौरान तैराकी और पढ़ाई उनकी प्राथमिकता थी।
अदित स्वीकार करते हुए कहा कि शुरुआत में उन्हें नए आईआईटी में शामिल होने को लेकर संकोच था, लेकिन उनका अनुभव आशातीत रहा। उन्होंने कहा कि मुझे लगा था कि शायद यहां पुरानी आईआईटी की तरह अवसर नहीं होंगे, लेकिन अब पीछे मुड़कर देखता हूं तो महसूस करता हूं कि आईआईटी गांधीनगर ने मुझे सब कुछ दिया।
कार्नेगी मेलॉन यूनिवर्सिटी, पिट्सबर्ग और यूनिवर्सिटी ऑफ साउथर्न कैलिफोर्निया, लॉस एंजिल्स से अधिस्नातक के प्रस्तावों पर विचार करते हुए अदित अपने अगले अध्याय की तैयारी कर रहे हैं। उनकी शैक्षणिक उत्कृष्टता, शोध नवाचार, खेल भावना और नेतृत्व की विरासत 21वीं सदी के इंजीनियराें के लिए आदर्श है।
हिन्दुस्थान समाचार / Abhishek Barad
The post आईआईटी गांधीनगर : शैक्षिक उत्कृष्टता, खेल व नेतृत्व की मिसाल हैं अदित राम्भिया appeared first on cliQ India Hindi.
You may also like
युवक की गोली मारकर हत्या, जांच में जुटी पुलिस
भारत-नेपाल मैत्री पुल पर एसएसबी पोस्ट निर्माण को लेकर विवाद,स्थिति तनावपूर्ण
'क्योंकि सास भी कभी बहू थी' का नया सीजन स्थगित, जानें कारण
क्या कभी भी टूट सकता है युद्ध विरामहै? ईरान को इजरायल पर नहीं है भरोसा, शीर्ष सैन्य कमांडर ने भेजा कड़ा संदेश
राष्ट्रीय चिकित्सक दिवस : बिधान चंद्र रॉय की सेवा और समर्पण आज भी करते हैं हर डॉक्टर को प्रेरित