लंदन: ब्रिटेन की पीएम कीर स्टार्मर के नेतृत्व वाली सरकार ने इमिग्रेश सिस्टम (अप्रवासन प्रणाली) में बड़े बदलाव किए हैं। इन बदलावों का मकसद माइग्रेशन घटाना, कुशल कामगारों को बढ़ाना और वर्क वीजा में सख्ती करते हुए विदेशी श्रमिकों पर निर्भरता कम करना है। नए इमिग्रेशन श्वेत पत्र के तहत सुधारों का पहला सेट ब्रिटिश संसद के निचले सदन में पेश कर दिया गया है। इसे उन्होंने ब्रिटेन की आप्रवासन रणनीति को पूरी तरह रीसेट (बड़े बदलाव) करने वाला कहा है। इमिग्रेशन सिस्टम के ये नए नियम इस साल 22 जुलाई से लागू होंगे।
श्वेत पत्र में सिफारिशों पर नए नियमों को इस वर्ष के आखिर तक लागू किया जाना है। इसके तहत ब्रिटेन की इमिग्रेश सिस्टम में नए नियमों में कुशल श्रमिक वीजा रूट के तहत पात्रता से 100 से ज्यादा व्यवसायों को हटाया जाएगा। कौशल स्तर और वेतन आवश्यकताओं की सीमा बढ़ाई जाएगी और विदेशी सामाजिक देखभाल श्रमिकों के लिए वीजा रूट बंद किया जाएगा। इसके अलावा वीजा आवेदकों के लिए अंग्रेजी भाषा की आवश्यकताओं को भी सख्त किया जाएगा।
स्थानीय लोगों को मिलेंगे ज्यादा मौकेब्रिटिश गृह सचिव यवेट कूपर ने कहा है कि नए नियमों में हमारी सरकार की कोशिश स्थानीय लोगों को मौका बढ़ाना है। बदलाव की चार सबसे प्रमुख बातों में से पहली- कुशल श्रमिक वीजा सूची से 111 व्यवसायों को हटाना, दूसरी- देखभाल कर्मियों के लिए विदेशी भर्ती को समाप्त करना, तीसरी- छोटी डिग्री स्तर के काम को सख्त शर्तों के साथ सीमित करना और चौथी-प्रवासन सलाहकार समिति की कमी वाली भूमिकाओं, वेतन और लाभों की समीक्षा का आदेश देना है।
सरकार का कहना है कि ये बदलाव इमिग्रेशन सिस्टम पर कंट्रोल बढ़ाने और घरेलू कार्यबल विकास को प्राथमिकता देने के लिए हैं। ब्रिटेन में भारतीय बड़ी संख्या में रहते हैं और काम के लिए भी जाते हैं। ऐसे में भारतीयों के लिए ये फैसला मुश्किल पैदा कर सकता है। यवेट कूपर ने कहा कि हम उचित नियंत्रण और व्यवस्था बहाल करने के लिए अपनी आव्रजन प्रणाली में बड़े बदलाव कर रहे हैं।
कपूर ने कहा कि बड़े बदलाव करने की वजह पिछली सरकार की नितियां हैं। ब्रिटेन की पिछली सरकार ने प्रवासन को चार गुना बढ़ा दिया था, इससे सिस्टम पटरी से उतर गया है। ऐसे मे कीर स्टार्मर की सरकार इसमें बदलाव ला रही है ताकि इस प्रणाली पर फिर से नियंत्रण स्थापित किया जा सके। उन्होंने इस दिशा में जल्दी ही और भी कदम उठाने की बात कही है।
श्वेत पत्र में सिफारिशों पर नए नियमों को इस वर्ष के आखिर तक लागू किया जाना है। इसके तहत ब्रिटेन की इमिग्रेश सिस्टम में नए नियमों में कुशल श्रमिक वीजा रूट के तहत पात्रता से 100 से ज्यादा व्यवसायों को हटाया जाएगा। कौशल स्तर और वेतन आवश्यकताओं की सीमा बढ़ाई जाएगी और विदेशी सामाजिक देखभाल श्रमिकों के लिए वीजा रूट बंद किया जाएगा। इसके अलावा वीजा आवेदकों के लिए अंग्रेजी भाषा की आवश्यकताओं को भी सख्त किया जाएगा।
स्थानीय लोगों को मिलेंगे ज्यादा मौकेब्रिटिश गृह सचिव यवेट कूपर ने कहा है कि नए नियमों में हमारी सरकार की कोशिश स्थानीय लोगों को मौका बढ़ाना है। बदलाव की चार सबसे प्रमुख बातों में से पहली- कुशल श्रमिक वीजा सूची से 111 व्यवसायों को हटाना, दूसरी- देखभाल कर्मियों के लिए विदेशी भर्ती को समाप्त करना, तीसरी- छोटी डिग्री स्तर के काम को सख्त शर्तों के साथ सीमित करना और चौथी-प्रवासन सलाहकार समिति की कमी वाली भूमिकाओं, वेतन और लाभों की समीक्षा का आदेश देना है।
सरकार का कहना है कि ये बदलाव इमिग्रेशन सिस्टम पर कंट्रोल बढ़ाने और घरेलू कार्यबल विकास को प्राथमिकता देने के लिए हैं। ब्रिटेन में भारतीय बड़ी संख्या में रहते हैं और काम के लिए भी जाते हैं। ऐसे में भारतीयों के लिए ये फैसला मुश्किल पैदा कर सकता है। यवेट कूपर ने कहा कि हम उचित नियंत्रण और व्यवस्था बहाल करने के लिए अपनी आव्रजन प्रणाली में बड़े बदलाव कर रहे हैं।
कपूर ने कहा कि बड़े बदलाव करने की वजह पिछली सरकार की नितियां हैं। ब्रिटेन की पिछली सरकार ने प्रवासन को चार गुना बढ़ा दिया था, इससे सिस्टम पटरी से उतर गया है। ऐसे मे कीर स्टार्मर की सरकार इसमें बदलाव ला रही है ताकि इस प्रणाली पर फिर से नियंत्रण स्थापित किया जा सके। उन्होंने इस दिशा में जल्दी ही और भी कदम उठाने की बात कही है।
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