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समग्र आर्थिक साझेदारी समझौता से बढ़ेगा भारत-यूएई व्यापार : डॉ. माेहन यादव

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– मुख्यमंत्री डॉ. माेहन यादव की यूएई के विदेश व्यापार राज्यमंत्री डॉ. जेयूदी से हुई चर्चा

भोपाल, 14 जुलाई (Udaipur Kiran) । मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोमवार को दुबई में एक महत्वपूर्ण बैठक के दौरान यूएई के विदेश व्यापार राज्य मंत्री डॉ. थानी बिन अहमद अल जेयूदी के साथ भारत-यूएई समग्र आर्थिक साझेदारी समझौते (सीईपीए) के तहत आर्थिक और औद्योगिक सहयोग को विस्तार देने पर गहन चर्चा की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारत-यूएई सीईपीए एक मजबूत आर्थिक आधार प्रदान करता है और मध्य प्रदेश इस साझेदारी का पूर्ण लाभ उठाकर निवेश, व्यापार एवं तकनीकी सहयोग के नए द्वार खोलने के लिए तैयार है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश की भौगोलिक स्थिति, उन्नत बुनियादी ढांचे और बेहतर उद्योग नीति समर्थन ने इसे लॉजिस्टिक्स, मैन्युफैक्चरिंग और खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में एक उभरते निवेश गंतव्य के रूप में स्थापित किया है। विशेष रूप से ऑटोमोबाइल, फार्मा, टेक्सटाइल, रक्षा विनिर्माण और स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग क्षेत्रों में यूएई के निवेश का स्वागत किया। उन्हाेंने कहा कि मध्य प्रदेश देश का अग्रणी सोयाबीन, दाल और जैविक उत्पादक राज्य है। उन्होंने खाद्य प्रसंस्करण और कृषि-तकनीक में यूएई के साथ मिलकर काम करने की इच्छा जताई, जिससे भारत और खाड़ी देशों के बीच कृषि आपूर्ति श्रृंखला को सशक्त किया जा सके।

मुख्यमंत्री ने यूएई के विदेश व्यापार राज्य मंत्री डॉ. जेयूदी को सौर ऊर्जा, स्मार्ट ऑटोमेशन, एम्बेडेड इलेक्ट्रॉनिक्स और इंडस्ट्री 4.0 जैसे क्षेत्रों में यूएई की विशेषज्ञता को आमंत्रित किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया कि मध्य प्रदेश में तेजी से विकसित हो रही नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाएं यूएई के निवेशकों के लिए निवेश का आकर्षक अवसर हैं। उन्हाेंने बताया कि धार में पीएम मित्रा पार्क (वस्त्र), तामोट और बिलौआ में प्लास्टिक पार्क, उज्जैन में मेडिकल डिवाइस पार्क, पीथमपुर में ऑटो, भोपाल में इलेक्ट्रॉनिक्स, और देवास में फार्मा क्लस्टर यूएई के निवेशकों के लिए तैयार हैं, जहां अधोसंरचना के साथ मध्य प्रदेश सरकार की उद्योग मित्र पॉलिसी उनका स्वागत करने के लिये तैयार है।

मुख्यमंत्री ने बताया कि सिंगापुर के सहयोग से भोपाल स्थित “ग्लोबल स्किल पार्क”, विकसित हो रहा है। यह पार्क लॉजिस्टिक्स, हॉस्पिटैलिटी, हेल्थकेयर और मेकाट्रॉनिक्स जैसे क्षेत्रों में प्रशिक्षित मानव संसाधन उपलब्ध कराएगा जो यूएई की आवश्यकताओं के अनुरूप होगा। मध्य प्रदेश की पर्यटन क्षमता, खनिज संपदा (हीरा, तांबा, बॉक्साइट, चूना पत्थर) और डब्‍ल्‍यूएचओ-जीएमपी व यूएसएफडीए प्रमाणित फार्मा इकाइयां अंतरराष्ट्रीय निवेशकों के लिए सुनहरा अवसर प्रदान करती हैं।

उन्हाेंने कहा कि मध्य प्रदेश में निवेश आकर्षित करने के लिये राज्य की नवीन औद्योगिक नीति 2025 में कई अहम बदलाव किए गए हैं। यूएई जैसे रणनीतिक साझेदारों के लिए रियायती भूमि, 100 प्रतिशत एसजीएसटी प्रतिपूर्ति और पूंजीगत अनुदान जैसे विशेष प्रावधान किये गये हैं जो मध्य प्रदेश के साथ निवेश को सशक्त बनाती है। मध्य प्रदेश को आई2यू2 (इंडिया, इजराइल, यूएई और अमेरिका) की रणनीतिक साझेदारी के तहत क्लीन टेक्नोलॉजी, फूड कॉरिडोर और इंडस्ट्रियल इनोवेशन क्षेत्रों में पायलट प्रोजेक्ट्स के लिये उपयुक्त बताया।

यह बैठक न केवल भारत-यूएई सीईपीए को धरातल पर उतारने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल थी, बल्कि मध्य प्रदेश को वैश्विक निवेश मानचित्र पर एक निर्णायक भूमिका में स्थापित करने की ओर बढ़ता कदम भी साबित हुआ है।——————-

(Udaipur Kiran) / उम्मेद सिंह रावत

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